और सुनाओ तुम कैसी हो मेरी तुम कुछ नहीं पूछना अपनी कहते जाना तुम देने को कुछ रहा न बाकी अपनी यादें जितनी चाहो उतनी लेते जाना तुम तेरी ही हैं बस संग मेरे हैं बातें तेरी राहें तेरी रस्ता तेरा मंजिल तेरी सफर है मेरा जाना मुझको पड़ेगा एक दिन छोड़ अकेला तन्हा तुमको तुम ना आना पीछे मेरे तुमको काम कई हैं करने मेरे पीछे रोना ना तुम वादा तुमको आज ये मुझसे करना होगा मैं आऊंगा मिलने तुमसे फिर सपनों में मुझसे पहले सोना ना तुम सपनों में भी वही बात पूछूंगा तुमसे तुम कैसी हो ? तुम कैसी हो ?